उपनगरी ज्वालापुर में नशे का कारोबार खूब फल फूल रहा है।

खूब फल फूल रहा है अवैध शराब का कारोबार
हरिद्वार, 18 अक्टूबर। उपनगरी ज्वालापुर में नशे का कारोबार खूब फल फूल रहा है। गली मौहल्लों मे शराब सुल्फे के साथ अन्य नशीले पदार्थो का बिकना जारी है। बिना रोक टोक के नशे के कारोबार कों खूब पंख लग रहे है। युवा बेरोजगार नशे के धंधे को अपने कैरियर के तौर पर अपना रहे है। धन अर्जित करने का सबसे सरल माध्यम नशे का कारोबार बना हुआ है। कम उम्र के ना समझ युवा इस धंधे की ओर अपने कदम बढ़ा रहे हैं। ज्वालापुर के कई क्षेत्रों मे नशे का गोरखध्ंाधा फल फूल रहा है। युवा वर्ग महगें शौक को पूरा करने के लिए इस धंधे से जरा सी भी गुरेज नही कर रहा है। नशे के धंधे को संचालित करने के लिए युवा अपनी टीमें बनाकर इस काम को अंजाम दे रहे है। नशे की वस्तुओं की सप्लाई बडी ही चालाकी से की जा रही है। शराब के शौक रखनें वालो को आसानी से सप्लायर शराब उपलब्ध करा रहें है। शाम होते ही फोन के माध्यम से शराब सुल्फा एक ही काॅल पर उपलब्ध हो जाता है। बडे़ रसूखदार कारोबारी नशे के कारोबार कों मक्कडजाल की तरह फैला रहें है। पुलिस का खौफ नशे के कारोबारियों पर कही नजर नही आ रहा है। धडल्लें से दिन के उजाले मे इस कारोबार की जड़ें खूब मजबूत हो रही है। नशा मुक्ति अभियान के प्रयास मात्र जुबानी ही रह चुके है। नशे की बिक्री के खिलाफ आवाज उठाने वाले लोगो के विरोध को बडी ही आसानी से दबाने मे कारोबारी कामयाब हो जाते है। जिन कारणों से असमाजिक तत्व इस गौरख धंधे को बडी ही आसानी से कर रहें है। ज्वालापुर के मौहल्लों मे तो कई चाय की दुकाने नुक्कड व गलिया नशे के धंधे के लिए जानी जाती है। आसानी से अवैध कारोबार को संचालित किया जा रहा है। समाज सेवी जेपी बडोनी का कहना है कि धर्मनगरी को नशा मुक्त बनाने के सभी प्रयास बेमानी ही लगते है। सरकार का रूख नशे के प्रति ठीक नही है। अवैध शराब की बिक्री पर कोई कार्यवाही ना होना बडे ही खेद का विषय है। सरकार शराब कारोबार को बढावा देने के हथकंडे अपनाती रहती है। नशे का कारोबार कैसे रोका जा सकता है जब सरकार ही नियमों कानून को ताक पर रखकर प्रदेश मे शराब के कारखाने लगाने को तैयार है। प्रदेश की महिला शक्ति दशकों से शराब के खिलाफ आंदोलन चला रही है। लेकिन सरकार राज्य में शराब माफियाओं को लाभ पहॅुचाने वाले आदेश पारित कर शराब बिक्री को बढावा देने का काम कर रही है। ऐसे में कैसे राज्य नशा मुक्त हो पाएगा।



